कॉरपोरेट कम्युनिकेटर (Corporate Communicator) कैसे बनें?

नमस्कार! दोस्तों आज के इस आर्टिकल में हम आपको बताएंगे कॉरपोरेट कम्युनिकेटर (Corporate Communicator) कैसे बनें? आज के समय में कॉरपोरेट कम्युनिकेटर बनने की इच्छा युवाओं में काफी वृद्धि कर रही है क्योंकि इसमें उन्हें नौकरी की संभावनाएं बहुत बेस्ट मिलती हैं।

लेकिन इस क्षेत्र में काम करने के लिए सबसे अत्यंत आवश्यक है कि कैंडिडेट को इस इंडस्ट्री के बारे में सारी जानकारी हो। साथ ही साथ कैंडिडेट को यह भी पता होना चाहिए कि अगर वह अपने किसी बिजनेस को कंपटीशन के इस दौर में दूसरों से आगे लेकर जाना चाहता है तो इसके लिए उसे क्या-क्या स्ट्रैटेजिस अपनानी होंगी। अगर आप भी एक ऐसे व्यक्ति हैं जो कॉरपोरेट कम्युनिकेटर बनने में रुचि रखते हैं तो हमारे आज के इस पोस्ट को सारा पढ़ें और जानें कि आप किस प्रकार से इस क्षेत्र में जा सकते हैं।  

कॉरपोरेट कम्युनिकेटर क्या होता है (what is Corporate Communicator in Hindi) 

यहां सबसे पहले बता दें कि कॉर्पोरेट कम्युनिकेटर वह होता है जो किसी कंपनी के ब्रांड को पब्लिक तक पहुंचाने का काम करता है जिससे कि लोगों में उस ब्रांड के प्रति अवेयरनेस पैदा हो। किसी भी कंपनी के बिजनेस की सफलता सबसे ज्यादा इस बात के ऊपर निर्भर करती है कि मार्केट में उसकी लोगों के बीच में क्या रेपुटेशन है।

इस प्रकार से एक कॉरपोरेट कम्युनिकेटर को कंपनी की ब्रैंड डैमेज को बेहतर बनाएं रखने के लिए मीडिया के साथ भी तालमेल बनाकर रखना आवश्यक होता है। पहले के समय में कॉरपोरेट कम्युनिकेटर की आवश्यकता ज्यादा नहीं होती थी लेकिन अब क्योंकि कंपटीशन बहुत ज्यादा बढ़ गया है इसीलिए हर कंपनी या फिर हर ऑर्गेनाइजेशन की यह कोशिश होती है कि वह किसी अच्छे कॉर्पोरेट कम्युनिकेटर को अपनी कंपनी में रखें जिससे कि उनके व्यापार को एक पहचान मिल सके। 

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कॉरपोरेट कम्युनिकेटर बनने के लिए प्रक्रिया क्या है

कॉर्पोरेट कम्युनिकेटर बनने के लिए सबसे पहले जरूरी है कि कैंडिडेट अपनी 12वीं कक्षा की पढ़ाई पूरी कर लें और उसके बाद उसे किसी भी प्रोफेशनल कोर्स में दाखिला लेना होगा जिसको करने के बाद वह इस फील्ड में काम करने के लिए योग्यता रख सकेगा जैसे कि मास कम्युनिकेशन, जर्नलिज्म इत्यादि। इसके अलावा अगर कोई कैंडिडेट चाहता है कि वह ग्रेजुएशन करने के बाद इस इंडस्ट्री में ज्वाइनिंग करें तो तब वह पोस्ट ग्रैजुएट डिप्लोमा कोर्स पब्लिक रिलेशन एंड एडवरटाइजिंग में कर सकता है। 

योग्यता

कॉरपोरेट कम्युनिकेटर बनने के लिए कैंडिडेट में जो योग्यताएं होनी चाहिए उनकी जानकारी इस तरह से है-

  • छात्र ने मास कम्युनिकेशन या जर्नलिज्म में डिग्री हासिल की हो। 
  • या फिर पब्लिक रिलेशन एंड एडवरटाइजिंग का कोर्स किया हो। 
  • या फिर मार्केटिंग कोर्स किया होना चाहिए ‌
  • या फिर ग्रेजुएशन के बाद इससे संबंधित कोई पोस्ट ग्रेजुएशन कोर्स किया हो। 
  • कैंडिडेट के कम्युनिकेशन स्किल्स अच्छे होने चाहिए। 

आयु सीमा 

इसके लिए कैंडिडेट की आयु कम से कम 20 या 21 साल तक होनी जरूरी है क्योंकि ग्रेजुएशन के बाद ही कैंडिडेट इस क्षेत्र में काम कर सकते हैं। वैसे इसके लिए कोई अधिकतम आयु सीमा निर्धारित नहीं की गई है इसलिए किसी भी आयु तक का व्यक्ति इस इंडस्ट्री में काम करने के लिए योग्यता रखता है। 

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कॉरपोरेट कम्युनिकेटर बनने के कैरियर संभावनाएं क्या है

यहां आपको बता दें कि कॉर्पोरेट कम्युनिकेटर बनने के बाद किसी भी व्यक्ति के सामने बहुत सारी अच्छी कैरियर संभावनाएं आ जाती हैं जहां पर उसे विभिन्न क्षेत्रों में नौकरी करने के मौके मिलते हैं। इस प्रकार से कैंडिडेट जिन सेक्टर में काम कर सकते हैं उनकी जानकारी निम्नलिखित है- 

  • टेलीकॉम 
  • मीडिया 
  • एंटरटेनमेंट 
  • हेल्थ
  • एजुकेशन
  • केमिकल
  • कंस्ट्रक्शन
  • फाइनेंशियल
  • टेक्सटाइल
  • ट्रैवल एंड टूरिज्म इत्यादि।

वेतन 

यहां आपको जानकारी दे दें कि एक कॉर्पोरेट कम्युनिकेटर बनने के बाद कैंडिडेट हर महीने कितना वेतनमान हासिल कर सकता है। तो वेतन कैंडिडेट की योग्यता और उसके स्किल के ऊपर सबसे अधिक डिपेंड करता है। वैसे जब कोई कैंडिडेट इस क्षेत्र में काम करना शुरू करता है तो तब उसे हर महीने 25,000 से लेकर 30,000 रुपए तक का वेतन मिल जाता है। 

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कॉरपोरेट कम्युनिकेटर के कार्य

जो व्यक्ति कॉरपोरेटर कम्युनिकेटर के पद पर काम करता है उसे अपनी जिम्मेदारियों को निभाते हुए बहुत सारे कार्य करने होते हैं क्योंकि किसी भी कंपनी के बिजनेस की सक्सेस उसके ऊपर सबसे अधिक निर्भर करती है। इसलिए उसे जो काम करने पड़ते हैं उनकी जानकारी इस प्रकार से है- 

  • अपनी कंपनी के ब्रांड को प्रमोट करना और लोगों में उसकी अवेयरनेस बनाना।
  • कंपनी के लिए ऐसी स्ट्रैटेजिस बनाना है जिससे कि वह कंपटीशन में दूसरों से आगे रहे। 
  • ग्राहकों से डायरेक्ट कम्युनिकेशन करना। 
  • कंपनी इमेज को ग्राहकों के बीच में बेहतर बनाने के लिए उसका मेकओवर करना। 
  • प्रतिस्पर्धा की इस होड़ में अपनी कंपनी के लिए ऐसी रणनीति बनाना कि वह लोगों के बीच में अपने प्रोडक्ट की पहचान बना सके। 
  • इसके अलावा कंपनी के प्रोडक्ट की ग्लोबल मार्केट में भी पहचान बनाने का काम करना।
  • कंपनी की ब्रांड इमेज को बेस्ट बनाए रखना।
  • यह कोशिश करना कि कंपनी के बनाए हुए प्रोडक्ट और उसकी सर्विस को अधिक से अधिक लोगों तक पहुंचाया जा सके जिससे कि अधिकतर लोग उसके बारे में जानकारी हासिल करें और प्रोडक्ट खरीदें।

Deepak Kumar

मेरा नाम दीपक कुमार हैं। मैं एक ऑथर और फाउंडर हूँ जो padhaiwale.in ब्लॉग वेबसाइट को चलाते है। मैं एक SEO Expert भी हूँ और मैं 10 साल से काम कर रहे हैं। मुझे SEO में Onpage SEO, Offpage SEO और Technical SEO का अनुभव हैं।

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